यह बात उत्तरप्रदेश के गोंडा जिला के एक गाँव के एक परिवार की है.
ननकू की उम्र 45 साल, उसकी पत्नी सुखिया 41 साल, उनका बेटा मोहन 22 साल और बहू सीमा 19 साल की है.
कुछ दिन पहले ही मोहन और सीमा की शादी हुई थी.
जल्दी ही मोहन की छुट्टी खत्म हो गई थी तो वह फौज की अपनी डयूटी पर चला गया था.
गरीब परिवार के कारण एक ही कमरे में ही सास ससुर और बहू सोने लगे थे.
ननकू बहुत चोदू किस्म का आदमी था, उसे बिना चोदे नींद नहीं आती थी.
एक रात के समय ननकू के बगल में सुखिया और सुखिया के एक तरफ बहू सीमा सो रही थी.
ननकू ने अपनी पत्नी सुखिया को चोदने के लिए कहा.
सुखिया ने कहा- अभी नहीं, अभी बहू जाग रही है. जब सो जाएगी, तो चोद लेना.
ननकू बोला- रात के बारह बज रहे हैं, बहू सो चुकी होगी.
यह कह कर ननकू ने अपनी बीवी को अपना लंड सहलाने के लिए हाथ में थमा दिया.
सुखिया लंड सहलाती हुई बोली- पहले देख लेते हैं कि बहू सो रही है या नहीं.
बस यह कह कर सास ने अपनी बहू के हाथ को पकड़ कर हिलाया, तो उसे बेजान सा हाथ लगा और वह समझ गई कि बहू सो गई है.
वह अपने पति से बोली- मुझे तो पता ही नहीं चल रहा है कि बहू सो रही है कि नहीं!
ननकू ने कहा- ठीक है, तुम हटो … मैं छूकर पता करता हूँ.
यह कह कर ननकू ने एक हाथ बढ़ाकर बहू के हाथ छूने की कोशिश की.
उसी चक्कर में ननकू ने अपनी बहू की चूची पकड़ ली और चूची पर हाथ रखते ही ननकू को एक झटका सा लगा.
उसकी बहू की छोटी व कड़क चूचों को स्पर्श करते ही उसे करंट सा लगा मगर वह अपनी बहू के दूध सहलाता रहा.
उधर बहू भी वासना से भरी हुई थी, वह ससुर के हाथ से अपनी चूचियों को सहलाने का आनन्द लेने लगी.
कुछ ही देर में बहू के शरीर में हलचल होने लगी और दूसरी तरफ बहू के विरोध न करने पर ननकू का मन बेकाबू होने लगा.
वह उसके दूध ब्लाउज के ऊपर से धीरे-धीरे मसलने लगा.
इस पर भी बहू के विरोध नहीं करने पर ननकू ने उसके ब्लाउज के हुक खोल दिए और बहू की दोनों चूचियां नंगी होकर आजाद हो गईं.
अब ननकू अपनी बहू के दोनों चूचों को जोर जोर से मसलने लगा.
इधर ननकू के तंग नहीं करने पर पत्नी सुखिया फैल कर सो गई और खर्राटे मारने लगी.
सही मौका देखकर ननकू ने बहू के पेट को सहलाते हुए उसकी साड़ी को खोल दिया.
अब वह अपनी बहू के पेटीकोट के ऊपर से ही चूत पर हाथ रख कर दबाते हुए सहलाने लगा.
बहू का एक बार भी विरोध न देखकर ननकू ने पेटीकोट का नाड़ा ढीला कर दिया और पेटीकोट को खोलकर बहू की टांगों से अलग कर दिया.
अब ननकू अपनी बहू की चूत को पैंटी के ऊपर से सहलाने लगा. अपनी बहू की मखमली चूत महसूस कर ननकू का लंड फनफना कर खड़ा हो गया और उसने बहू की पैंटी भी हटा दी.
चूत पर हाथ फेरते ही उससे न रहा गया और वह उठकर बहू के ऊपर चढ़ गया.
बाजू में सो रही अपनी पत्नी सुखिया से वह कुछ अलग हो गया और बहू को भी जरा दूर खिसका दिया.
अब वह अपना लंड अपनी बहू के हाथ में देने लगा.
अब तक बेजान पड़ी बहू में मानो जान आ गई और वह भी अपनी लाज शर्म को छोड़ कर ससुर के लंड को पकड़कर सहलाने लगी.
ननकू अपनी बहू का मौन निमंत्रण पाकर खुशी से पागल हो गया और बहू के होंठों पर होंठ रखकर चूमने लगा.
कुछ ही देर बाद ननकू ने अपनी बहू की नारंगी के आकार की चूचियों में से एक चूची को मुँह में भर लिया और चूसने लगा.
चूची चुसवाने में बहू को भी सुख मिलने लगा और वह अपने ससुर के सर को अपनी चूची पर दबाने लगी.
कुछ देर तक अपनी बहू की दोनों चूचियों को जी भर कर चूसने के बाद वह नीचे सरक गया और अपनी बहू की चूत को चाटने लगा.
ननकू की बहू सीमा सिसियाती हुई और फुसफुसाती हुई बोली- आह बाबू जी! जल्दी से अपना लंड मेरी चूत में घुसाकर चोदिये न … कहीं सासु माँ जाग जाएंगी, तो सब मजा किरकिरा हो जाएगा.
यह सुनकर अब तो ननकू की खुशी का ठिकाना ही नहीं रहा.
वह खुशी से बोला- बहू तू चिंता मत कर, सास जागेगी भी तो कुछ नहीं बोलेगी.
बहू बोली- बाबू जी जो मजा चोरी-चोरी चुदाई करने में है, वह सबके सामने करने में नहीं है. पहली बार तो चोरी-चोरी चुदाई का मजा लेने दीजिए न बाबू जी.
ननकू फुसफुसाकर बोला- हां तुम ठीक कह रही हो बहू … चोरी-चोरी चुदाई करने से पहले ही जन्नत का मजा आ रहा है.
ननकू बोला- बहू मेरे लंड की लंबाई 12 इंच और मोटाई चार इंच है … पूरा ले लोगी … दर्द तो नहीं होगा न!
बहू सीमा फुसफुसाकर बोली- आह बाबू जी … वाह बाबूजी … आप पेलो तो सही, मैं डरने वाली नहीं हूँ … आप बिंदास पूरा लंड पेल दो!
ननकू ने अपना सुपारा बहू के छेद पर रखकर एक झटका दे दिया और फचाक के आवाज की साथ सुपारा चूत के अन्दर घुस गया.
बहू सीमा दर्द से फुसफुसाती हुई बोली- आह बाबू जी … फाड़ दी आपने तो आह बाबूजी … आपके लंड का सुपारा आपके बेटा मोहन से काफी मोटा है … बहुत मजा आ रहा है … ऐसा लग रहा है कि आपने मेरी चूत में बांस घुसा दिया है!
ननकू बहू सीमा की एक चूची को मुँह में लेकर चूसते हुए बोला- हां बहू … तुम्हारी चूत भी काफी टाइट है … और मुझे तो ऐसा लग रहा है कि सुपारे की मालिश हो रही है!
बहू सीमा गांड उचकाती हुई बोली- आह बाबूजी पेल दो पूरा आह बाबूजी … अपना पूरा लंड चूत के अन्दर ठोककर मेरी चूत की मालिश कर दीजिए न!
बहू सीमा को दर्द तो हो रहा था पर उसने सहन कर लिया और खुश होकर बोली- वाह बाबूजी … आह बाबूजी! आज मुझे आपका लंड पाकर मन की इच्छा पूरी हो गई है. आप बस अब जोर-जोर से धक्का मारकर मेरी चूत का भरता बना दीजिए.
ननकू को अपने लंड पर बहुत नाज था और इधर सीमा बहू ने आसानी से पूरे लंड को बिना दर्द के घुसवा लिया.
उसे बड़ा आश्चर्य हुआ.
वह बोला- बहू सीमा, मेरे विशाल लंड से सब लड़कियां और औरतें डरती हैं … और तुम एक ही बार में पूरा लंड गटक गईं. सच सच बताओ, पहले भी मोटे लंड से चुदवा चुकी हो क्या?
सीमा बहू मुस्कुराकर बोली- हां बाबूजी … मेरी दीदी के बच्चा होने वाला था इसलिए उनकी सेवा के लिए मैं दीदी के ससुराल गई थी. उधर मैं दीदी के ससुर रामलाल के साथ सो गई थी क्योंकि घर में जगह की कमी थी.
ननकू बोला- अच्छा फिर क्या हुआ सीमा बहू?
सीमा- रात में मेरी नींबू के साइज की चूची को रामलाल सहलाने लगे. मर्द का स्पर्श पाकर मेरे मन में गुदगुदी होने लगी. उन्होंने मेरी फ्राक और पैंटी निकाल कर मुझे नंगी कर दिया. फिर मेरे होंठों को चूमा, चूची को मुँह में लेकर चूमने लगे और मस्ती में मैं हवा में उड़ने लगी.
ननकू यह सुनकर ताव में आ गया और सीमा को दनादन चोदने लगा.
वह बोला- अच्छा फिर क्या हुआ बहू?
बहू सीमा बोलने लगी- दीदी के ससुर ने अपना चार इंच मोटा लंड हाथ में देकर कहा कि सीमा लंड सहलाओ. मैं उनका लंड सहलाने लगी. सहलाने से रामलाल का लंड फूलकर चार इंच मोटा और आठ इंच लंबा हो गया. फिर दीदी के ससुर रामलाल ने मेरी कुंवारी चूत को जीभ से चाटकर और उंगली घुसाकर मुझे चुदासी बना दिया.
यह सब सुनकर ननकू का लंड सीमा बहू की चूत में आतंक मचाने लगा.
सीमा बहू ने भी अपने ससुर के लंड से लोहा लेते हुए आगे का हाल बताना जारी रखा.
सीमा बोली- मैंने दीदी के ससुर से कहा कि आह अब आप मेरी चूत में अपना लंड घुसा ही दीजिए न, अन्दर बड़ी गुदगुदी हो रही है. उन्होंने उसी वक्त मेरी चूत में तेल लगाकर लंड का सुपारा घुसा दिया. जब मैं चिल्लाने लगी तो उन्होंने मेरा मुँह बंद कर दिया और धीरे-धीरे चोदने लगे. कुछ समय के बाद मुझे आनन्द आने लगा तो मैं अपनी गांड उछाल उछाल कर मस्ती से चुदवाने लगी. फिर काफी देर तक दीदी के ससुर रामलाल मुझे चोदते रहे. जब उनके लंड का पानी निकलने को हुआ, तो उन्होंने लंड चूत से खींच कर मेरे मुँह में डाल दिया और लंड का पानी मेरे मुँह में छोड़ने लगे.
यह सब सुनकर ननकू को मजा आ गया. वह अपनी बहू सीमा के दूध मसल कर बोला- साली तू तो पक्की छिनाल है, अपनी दीदी के ससुर के लंड का रस भी खा गई?
सीमा- मैं क्या करती ससुर जी … दीदी के ससुर रामलाल ने अपने लंड को मेरे मुँह में काफी अन्दर तक पेल कर दबा दिया था और लंड अपना रस अन्दर निकालने लगा था तो मुझे मजबूरन पी जाना पड़ा. साथ ही वे लंड का रस पिलाते हुए यह भी कह रहे थे कि सीमा पी जाओ, इससे ताकत आ जाएगी. बस मैं पीती चली गई थी.
ननकू अपने लंड को सटासट अन्दर बाहर करते हुए सीमा से बोला- उस बहन के लौड़े रामलाल ने ही तुम्हारी दीदी को भी चोदकर गर्भवती कर दिया होगा. तुमने उससे पूछा नहीं था कि किसका बच्चा जन रही है तेरी बहनिया?
सीमा- हां बाबू जी, दीदी के ससुर ने कहा था कि तुम्हारी दीदी को चोदकर उसने ही गर्भवती बनाया था.
ननकू- फिर क्या हुआ?
सीमा- फिर अगले दो माह तक रामलाल ने मुझे रोज चोदा और उनसे चुदने के बाद मुझे भी चुदाई का लत लग गई थी. इसलिए एक दिन मैं दीदी के ससुर से बोली भी थी कि ससुर जी! आप मेरा शादी-विवाह वहां कराना, जहां ससुर का लंड आपके जितना ही मोटा हो!
ननकू- अच्छा … तो तेरी दीदी के ससुर को कैसे मालूम हुआ कि मेरा लंड चार इंच मोटा है?
सीमा- मेरी दीदी ने अपने ससुर को बताया था कि आपने एक दिन मेरी दीदी की चुदाई की थी.
“मुझे याद नहीं आ रहा है बहू कि कब मैंने तेरी बहन की चुदाई की थी, उसने तो पूरी बात बताई होगी?”
सीमा- हां दीदी ने बताया था कि एक दिन वह अपने ससुर के साथ किसी शादी-विवाह में गई थी. उसकी सास ने बताया था कि बहू इस आदमी का लंड चार इंच मोटा है.
ननकू अचकचा कर बोला- अच्छा इसका मतलब तेरी बहन की सास भी मेरे लंड से चुदवा चुकी थी … साली न जाने कितनी चुतें मेरे लंड का शिकार बन चुकी हैं, मुझे खुद भी याद नहीं है.
सीमा- हां बाबू जी, सास ने जब उसे बताया कि आपका लंड इतना मोटा है, तो दीदी ने आपका लंड देखने के लिए ही आपसे चुदाई करायी थी.
ननकू अब खुशी में आकर अपनी बहू सीमा की चूत में दनादन ठोकर मारने लगा और बोला- आज कोई चुदक्कड़ लड़की बहू के रूप में मिली है. अभी तक कोई भी लड़की या औरत मेरा पूरा लंड लेने से डरती थी. आज मेरा पूरा लंड बहू की चूत में फचाक फचाक कर जा रहा है और आराम से चुदाई का मजा आ रहा है. ऐसा लगता है कि मेरी बहू की चूत से मेरे लंड की तेल मालिश हो रही है.
अब मस्ती में चुदाई चलने लगी.
सीमा बहू भी अपनी दोनों टांगें हवा में उठाई हुई अपने ससुर का गधे छाप लंड अपनी चूत की जड़ तक ले रही थी और फचाक फचाक की आवाज पूरे कमरे में गूंजने लगी थी.
बहू सीमा खुश होकर गाने लगी- हम बने तुम बने हो बाबूजी एक-दूसरे के लिए … हो रामा.
ससुर भी दनादन चोदते हुए बोले- हम बने … तुम बनी बहूरानी एक-दूसरे के लिए … हो रामा.
एक घंटा तक ताबड़तोड़ चुदाई करने के बाद ननकू बोला- बहू … लंड से पानी निकलने वाला है … जल्दी बोल क्या करूँ?
बहू मुस्कुरा कर बोली- बाबूजी करना क्या है … सब पानी मेरी चूत के अन्दर डाल दीजिए.
ननकू मुस्कुराकर बोला- तुमने तो मेरे मन की बात बोल दी मेरी बहूरानी! मेरी दिलरूबा! लेकिन मेरे लंड के पानी से पेट में बच्चा हो जाएगा तो?
बहू सीमा मुस्कुराकर बोली- मैं भी यही चाहती हूँ कि आपके लंड के पानी से आपका बच्चा पैदा हो जाए. बहुत मजा आएगा बच्चा आपका और नाम आपके बेटे मोहन का … यह उसी का बच्चा कहलाएगा.
ननकू मुस्कुराकर बोला- बहूरानी … एकदम से छुट्टल छिनाल हो!
बहू सीमा रानी मुस्कुराकर बोली- बाबूजी! आप भी तो एकदम से छुट्टल बहू चोदा हो!
इस तरह से ताबड़तोड़ चुदाई के बाद बहूरानी सीमा ने एक सुन्दर से बेटे को जन्म दिया.
सास सुखिया बोली- सुनते हो जी! बहू को पोता होने की खुशी में नेग दीजिए न!
यह सुनकर बहू सीमा मुस्कुरा कर ससुर की तरफ देखने लगी.
अब ससुर क्या कहता कि सुखिया यह बीज ही मेरा है … इससे बड़ा क्या नेग दूं!